नई दिल्ली : इस साल 22 जनवरी को शेयर बाजार में आयी गिरावट की कोई जांच तभी मुमकिन है, जब कोई ठोस सबूत मिलें। माना जा रहा है कि संबंधित अधिकारियों ने संसदीय पैनल को बताया कि पारदर्शिता के अभाव, लापरवाही या खामियों के ठोस सबूत मिलने पर ही जांच की जा सकती है।
खबर है कि फाइनेंस संबंधी संसद की स्टैंडिंग कमिटी ने बाजार के उतार-चढ़ाव पर चर्चा की। इस मामले पर कमिटी की यह दूसरी बैठक थी। सूत्रों के मुताबिक फाइनेंस सेक्रेटरी डी. सुब्बा राव ने कमिटी को बताया कि उतार-चढ़ाव बाजार का ही हिस्सा है। 22 जनवरी को और उसके दूसरे दिन बाजार फेल नहीं हुआ था। इसलिए अगर कोई ठोस सबूत मिलें तब इसकी जांच हो सकती है। गौरतलब है कि 22 जनवरी को स्टॉक माकेर्ट में एक दिन में सबसे ज्यादा गिरावट दर्ज की गई। तब बाजार 1,408.35 अंक लुढ़का था। बजट सत्र में संसद में अपनी रिपोर्ट पेश करने से पहले स्टैंडिंग कमिटी की एक और बैठक होगी।
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